Chanakya Niti: कहते हैं, एक व्यक्ति में समाज में परिवर्तन नहीं ला सकता। हालांकि यह कथन महान राजनीतिज्ञ, कुटनीतिज्ञ व अर्थशास्त्री चाणक्य के लिए सत्य नहीं है। विष्णुगुप्त नामक एक व्यक्त ने अपने दृढ़ संकल्प व चतुराई के बल पर मगध के शासक धनानंद को न केवल उसकी गद्दी से हटाया, बल्कि अपने शिष्य चंद्रगुप्त मौर्य को सम्राट बनाया।
अखंड भारत के इतिहास के उसी दिव्य व्यक्तित्व ने “अर्थशास्त्र” नामक एक ग्रंथ लिखी। उसमें उन्होंने धोखेबाज व फरेबी किस्म के व्यक्तियों को पहचानने के कई उपदेश दिए। जिसका जिक्र हम आगे इस लेख में करेंगे।
चाणक्य नीति से करें धोखेबाज की पहचान
चाणक्य द्वारा रची गई “अर्थशास्त्र” नामक किताब में धोखा देने वाले इंसानों की पहचान की कई सारी युक्तियां मौजूद हैं। इस महान शख्सियत के अनुसार कोई भी व्यक्ति किसी भी समय केवल अपनी बुद्धि व चालाकी की मदद से धूर्त व मक्कार लोगों को दबोच सकता है। इतना ही नहीं, उससे होने वाले किसी भी तरह के आर्थिक, शारीरिक व सामाजिक नुकसान से वह खुद को बचा सकता है।
इन हरकतों को न करें नजरअंदाज
चाणक्य के मुताबिक अक्सर धोखा देने वाला व्यक्ति की आंखों में अलग तरह की कुटीलता होती है। ध्यान से देखने पर यह नजर आ जाता है। इसके अलावा वह बात करते समय हकलाते हैं व उनका स्वर धीमा हो जाता है। इसके अलावा अगर उस व्यक्ति का स्वभाव व आपके प्रति उसक रवैया अचानक बदल जाएं, तो आप खुद को सतर्क कर लें वरना आप धोखे के शिकार हो सकते हैं।
रिश्तों में धोखा खाने से ऐसे बचें
हम आए दिन किसी न किसी से सुनते हैं कि उसने प्यार में धोखा खाया। रिश्तों में धोखा देने वाले लोग अपनी ही बातों पर अटल नहीं होते। यानि वह कहते कुछ हैं व करते कुछ और। उनके कहने और करने में काफी अंतर होता है। इसके अलावा धोखा देने वाले व्यक्ति कायर होते हैं व उनमें साहसिक कदम उठाने का बल नहीं होता है। वहीं अगर कोई अपने विचार व योजनाओं को आपसे गुप्त रखे, तो आप समझ लेना कि वह आपके साथ छल करने वाला है।
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